सबसे कम समय में बनकर तैयार होने का कीर्तिमान ग्वालियर टर्मिनल के नाम

ग्वालियर।  देश के नागर विमानन इतिहास में सबसे कम समय में राजमाता विजयाराजे सिंधिया हवाईअड्डा ग्वालियर का नया टर्मिनल भवन बनकर तैयार हुआ है। एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया द्वारा लगभग 500 करोड़ रूपए की लागत से लगभग 16 माह में टर्मिनल भवन का कार्य पूर्ण किया गया है। ग्वालियर का नया टर्मिनल अपने भीतर ग्वालियर-चंबल अंचल की समृद्ध कला, संगीत, संस्कृति, स्थापत्य व वास्तुकला एवं ऐतिहासिक वैभव को समेटे है। अत्याधुनिक उड्डयन सेवाओं से सुसज्जित यह टर्मिनल अंतर्राष्ट्रीय स्तर की सुविधाओं से परिपूर्ण हैं।

ग्वालियर का टर्मिनल अब मध्यप्रदेश का सबसे बड़ा टर्मिनल हो गया है। लगभग 20 हजार 230 वर्ग मीटर क्षेत्र में स्थापित इस टर्मिनल भवन एक साथ 1400 यात्रियों को सुविधाएं देने में सक्षम है। इसमें 16 चैकइन काउण्टर्स, 4 लिफ्ट, 4 पैसेंजर ब्रिज, 6 एक्सरे मशीन, 3 एस्केलेटर एवं 700 वाहनों की पार्किंग क्षमता विकसित की गई है। हवाईअड्डे पर बुनियादी ढांचे के निर्माण के अलावा ग्वालियर को अधिक से अधिक शहरों से जोडऩे की क्षमता विकसित की गई है। वर्तमान में ग्वालियर से अहमदाबाद, बैंगलोर, दिल्ली, हैदराबाद, इंदौर, मुम्बई व अयोध्या के लिये हवाई उड़ानें उपलब्ध हैं।

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